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87,330 छात्र उत्तीर्ण! कर्नाटक SSLC सप्लीमेंट्री रिजल्ट

87,330 छात्र उत्तीर्ण! कर्नाटक SSLC सप्लीमेंट्री रिजल्ट

कर्नाटक स्कूल एग्जामिनेशन एंड असेसमेंट बोर्ड (KSEAB) ने आज 13 जून 2025 को कर्नाटक एसएसएलसी (SSLC) परीक्षा-2 (पूरक परीक्षा) के परिणाम घोषित कर दिए हैं। इस वर्ष की परीक्षा में कुल 87,330 विद्यार्थियों ने सफलता प्राप्त की है। विशेष रूप से, 11,818 विद्यार्थियों ने अपने परिणामों में सुधार के लिए दोबारा परीक्षा दी थी, जिनमें से 6,635 विद्यार्थियों (56.14%) ने अपने परिणामों में सुधार किया है। यह आंकड़ा बोर्ड द्वारा अपनाई गई तीन परीक्षा प्रणाली की सफलता को प्रदर्शित करता है।

शिक्षा मंत्री मधु बंगारप्पा ने इस अवसर पर कहा, “हमारी सरकारी स्कूलों के विद्यार्थियों का प्रदर्शन सराहनीय रहा है। विद्यार्थियों के भविष्य को बेहतर बनाने और परीक्षा के भय को दूर करने के लिए हमने जो तीन परीक्षा प्रणाली लागू की है, उसके अच्छे परिणाम मिले हैं। इस प्रणाली के कारण, बड़ी संख्या में विद्यार्थी अपने परिणामों में सुधार करने में सफल रहे हैं।”

विद्यार्थियों के लिए आशा की किरण: परिणाम कैसे देखें

परीक्षा में शामिल हुए विद्यार्थी अपने परिणाम आधिकारिक वेबसाइट karresults.nic.in पर देख सकते हैं। परिणाम देखने के लिए निम्नलिखित चरणों का पालन करें:

  1. आधिकारिक वेबसाइट karresults.nic.in पर जाएं।
  2. होमपेज पर “KSEAB 10th SSLC Exam 2 Results 2025” लिंक पर क्लिक करें।
  3. अपना रजिस्ट्रेशन नंबर और जन्मतिथि दर्ज करें और सबमिट बटन पर क्लिक करें।
  4. आपका परिणाम स्क्रीन पर प्रदर्शित होगा।
  5. परिणाम का प्रिंटआउट भविष्य के संदर्भ के लिए सुरक्षित रखें।

विद्यार्थियों को सलाह दी जाती है कि वे अपना आधिकारिक मार्कशीट स्कूल से या DigiLocker से डाउनलोड और सत्यापित करें। यदि आवश्यक हो तो पुनर्मूल्यांकन या पुन:गणना के लिए आवेदन करें, जिसकी अंतिम तिथि आधिकारिक पोर्टल पर घोषित की जाएगी।

परीक्षा का पूरा विवरण: शैक्षणिक यात्रा का महत्वपूर्ण पड़ाव

इस वर्ष, कर्नाटक एसएसएलसी परीक्षा-2 26 मई से 2 जून 2025 तक आयोजित की गई थी। कक्षा 10 की परीक्षा प्रथम भाषा पेपर के साथ शुरू हुई और इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग, मैकेनिकल इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग, प्रोग्रामिंग इन ANSI ‘C’ और अर्थशास्त्र के तत्वों के साथ समाप्त हुई। परीक्षा एकल पाली में – सुबह 10 बजे से दोपहर 1.15 बजे तक आयोजित की गई थी।

सरकारी स्कूलों का पास प्रतिशत एसएसएलसी परीक्षा-2 में 36.65% रहा है, जो इस प्रणाली के तहत शिक्षा के स्तर में निरंतर सुधार को दर्शाता है। इससे पहले, एसएसएलसी परीक्षा-1 का परिणाम 30 अप्रैल 2025 को घोषित किया गया था, जिसमें कुल 842,173 उम्मीदवारों ने परीक्षा दी थी, जिनमें से 524,984 उम्मीदवार उत्तीर्ण हुए थे, जिससे कुल पास प्रतिशत 62.34% रहा था।

तीन परीक्षा प्रणाली का प्रभाव: शिक्षा में नवाचार

कर्नाटक की तीन परीक्षा प्रणाली ने शिक्षा क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण बदलाव लाया है। इस प्रणाली के अंतर्गत, विद्यार्थियों को अपने प्रदर्शन में सुधार करने और परीक्षा के तनाव को कम करने के लिए तीन अवसर प्रदान किए जाते हैं। शिक्षा मंत्री मधु बंगारप्पा के अनुसार, “यह प्रणाली विद्यार्थियों को अपनी क्षमता का बेहतर प्रदर्शन करने का अवसर देती है और परीक्षा के प्रति भय को दूर करती है।”

इस प्रणाली का सकारात्मक प्रभाव इस तथ्य से स्पष्ट है कि 11,818 विद्यार्थियों में से 6,635 विद्यार्थियों ने अपने परिणामों में सुधार किया है, जो 56.14% का प्रभावशाली आंकड़ा है। यह प्रणाली न केवल शैक्षणिक प्रदर्शन को बढ़ावा देती है, बल्कि विद्यार्थियों में आत्मविश्वास भी बढ़ाती है।

परिणामों का विश्लेषण: सांख्यिकीय परिदृश्य

एसएसएलसी परीक्षा-2 के परिणामों का विश्लेषण कई महत्वपूर्ण अंतर्दृष्टि प्रदान करता है:

ये आंकड़े शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार और विद्यार्थियों के प्रदर्शन में वृद्धि को दर्शाते हैं, जो कर्नाटक के शिक्षा विभाग द्वारा किए गए प्रयासों का परिणाम है।

विद्यार्थियों के लिए आगे का मार्ग: भविष्य की योजना

जिन विद्यार्थियों ने अभी तक परीक्षा उत्तीर्ण नहीं की है, उनके लिए एसएसएलसी परीक्षा-3 का विकल्प उपलब्ध है, जो 23-30 जून 2025 के बीच आयोजित की जाएगी। यह तीसरा और अंतिम अवसर है जिसमें विद्यार्थी अपनी कक्षा 10 की परीक्षा उत्तीर्ण कर सकते हैं।

विद्यार्थियों को सलाह दी जाती है कि वे:

  1. अपने आधिकारिक मार्कशीट स्कूल से या DigiLocker से डाउनलोड और सत्यापित करें।
  2. यदि आवश्यक हो तो पुनर्मूल्यांकन या पुन:गणना के लिए आवेदन करें (अंतिम तिथियां आधिकारिक पोर्टल पर घोषित की जाएंगी)।
  3. परीक्षा-3 के लिए पंजीकरण करें यदि वे अभी तक परीक्षा उत्तीर्ण नहीं कर पाए हैं।

शिक्षा मंत्री का बयान: सरकारी प्रयासों का प्रतिबिंब

कर्नाटक के शिक्षा मंत्री मधु बंगारप्पा ने परिणामों की घोषणा के अवसर पर कहा, “2025 एसएसएलसी परीक्षा-2 के परिणाम घोषित कर दिए गए हैं और सरकारी स्कूलों के छात्रों का उत्कृष्ट प्रदर्शन सराहनीय है। विद्यार्थियों के भविष्य को बेहतर बनाने और परीक्षा के भय को दूर करने के लिए हमने जो तीन परीक्षा प्रणाली लागू की है, उसके अच्छे परिणाम मिले हैं। इस प्रणाली के कारण, बड़ी संख्या में विद्यार्थी अपने परिणामों में सुधार करने में सफल रहे हैं।”

उन्होंने आगे कहा कि सरकारी स्कूलों का पास प्रतिशत 36.65% रहा है, जो सरकारी शिक्षा व्यवस्था में सुधार का संकेत है। उन्होंने इस अवसर पर शिक्षकों, अभिभावकों और विद्यार्थियों को बधाई दी और आशा व्यक्त की कि आने वाले वर्षों में परिणाम और भी बेहतर होंगे।

परीक्षा प्रणाली का भविष्य: आगे की राह

कर्नाटक की तीन परीक्षा प्रणाली ने अपनी प्रभावशीलता साबित की है, और इसके और अधिक विकास की संभावना है। इस प्रणाली का उद्देश्य न केवल परीक्षा के दबाव को कम करना है, बल्कि विद्यार्थियों को अपने प्रदर्शन में सुधार का अवसर भी प्रदान करना है।

आने वाले वर्षों में, कर्नाटक सरकार इस प्रणाली को और अधिक मजबूत बनाने और इसकी पहुंच बढ़ाने के लिए काम कर रही है। इससे न केवल पास प्रतिशत में वृद्धि होगी, बल्कि शिक्षा की गुणवत्ता में भी सुधार होगा।

सरकारी स्कूलों का प्रदर्शन: उम्मीद की किरण

सरकारी स्कूलों का पास प्रतिशत 36.65% रहा है, जो पिछले वर्षों की तुलना में एक महत्वपूर्ण सुधार है। यह सरकारी स्कूलों में शिक्षा की गुणवत्ता और बुनियादी ढांचे में किए गए निवेश का परिणाम है।

सरकारी स्कूलों के प्रदर्शन में सुधार राज्य सरकार के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है, और यह आशा की जाती है कि आने वाले वर्षों में यह प्रदर्शन और भी बेहतर होगा। सरकारी स्कूलों में अध्ययनरत विद्यार्थियों के लिए यह एक प्रेरणादायक संदेश है कि उनके प्रयास और समर्पण उन्हें सफलता की ओर ले जा सकते हैं।

उत्तीर्ण विद्यार्थियों के लिए अगले कदम: करियर की दिशा

एसएसएलसी परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद, विद्यार्थियों के पास विभिन्न शैक्षणिक और करियर विकल्प हैं। वे पीयूसी (कक्षा 11 और 12) में विज्ञान, वाणिज्य या कला विषयों का चयन कर सकते हैं, या वे आईटीआई, डिप्लोमा कोर्स या व्यावसायिक शिक्षा का विकल्प चुन सकते हैं।

कर्नाटक सरकार विद्यार्थियों को उनके करियर के निर्णयों में मार्गदर्शन प्रदान करने के लिए विभिन्न करियर काउंसलिंग कार्यक्रम भी आयोजित करती है। इन कार्यक्रमों का उद्देश्य विद्यार्थियों को उनकी रुचि और क्षमता के अनुसार सही करियर मार्ग चुनने में मदद करना है।

विद्यार्थियों और अभिभावकों की प्रतिक्रिया: समुदाय की आवाज

परिणामों की घोषणा के बाद, विद्यार्थियों और अभिभावकों ने तीन परीक्षा प्रणाली की सराहना की है। कई अभिभावकों का मानना है कि यह प्रणाली उनके बच्चों को अपनी क्षमता का बेहतर प्रदर्शन करने का अवसर प्रदान करती है।

एक विद्यार्थी, जिसने अपने परिणाम में सुधार किया, ने कहा, “मुझे पहली परीक्षा में अच्छे अंक नहीं मिले, लेकिन मैंने दूसरी परीक्षा में कड़ी मेहनत की और अपने परिणाम में सुधार किया। यह प्रणाली हमें दूसरा मौका देती है, जो बहुत मददगार है।”

एक अभिभावक ने कहा, “यह प्रणाली हमारे बच्चों पर परीक्षा का दबाव कम करती है और उन्हें अपनी तैयारी के लिए अधिक समय देती है। मैं सरकार के इस कदम की सराहना करता हूं।”

शिक्षा क्षेत्र के विशेषज्ञों की राय: व्यावसायिक परिप्रेक्ष्य

शिक्षा क्षेत्र के विशेषज्ञों का मानना है कि तीन परीक्षा प्रणाली एक सकारात्मक कदम है, लेकिन अभी भी सुधार की गुंजाइश है। एक शिक्षा विशेषज्ञ ने कहा, “यह प्रणाली विद्यार्थियों को अपने प्रदर्शन में सुधार का अवसर प्रदान करती है, लेकिन हमें शिक्षा की गुणवत्ता और शिक्षण विधियों पर भी ध्यान देना चाहिए।”

एक अन्य विशेषज्ञ ने कहा, “तीन परीक्षा प्रणाली एक अच्छी पहल है, लेकिन हमें यह सुनिश्चित करना चाहिए कि विद्यार्थी केवल परीक्षा पास करने पर ही ध्यान न दें, बल्कि वास्तविक ज्ञान और कौशल विकसित करें।”

निष्कर्ष: आशा और उपलब्धि का संगम

कर्नाटक एसएसएलसी परीक्षा-2 के परिणाम राज्य के शिक्षा क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर हैं। तीन परीक्षा प्रणाली ने विद्यार्थियों को अपने प्रदर्शन में सुधार का अवसर प्रदान किया है, और परिणाम इसकी सफलता को प्रदर्शित करते हैं।

87,330 विद्यार्थियों के उत्तीर्ण होने और 56.14% विद्यार्थियों के अपने परिणामों में सुधार करने के साथ, यह स्पष्ट है कि प्रणाली अपने उद्देश्यों को पूरा कर रही है। सरकारी स्कूलों के प्रदर्शन में सुधार भी एक सकारात्मक संकेत है।

आने वाले वर्षों में, कर्नाटक सरकार इस प्रणाली को और मजबूत बनाने और शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार के लिए काम करेगी। विद्यार्थियों, अभिभावकों और शिक्षकों के समर्पण और सहयोग से, कर्नाटक का शिक्षा क्षेत्र निश्चित रूप से नई ऊंचाइयों को छूएगा।

जिन विद्यार्थियों ने अभी तक परीक्षा उत्तीर्ण नहीं की है, उनके लिए एसएसएलसी परीक्षा-3 23-30 जून 2025 के बीच एक अंतिम अवसर प्रदान करेगी। इस प्रकार, कर्नाटक की तीन परीक्षा प्रणाली सभी विद्यार्थियों को सफलता का अवसर प्रदान करती है, और यह आशा की जाती है कि यह प्रणाली भविष्य में और भी अधिक विद्यार्थियों को लाभान्वित करेगी।

लेखक

  • नलिनी मिश्रा: डिजिटल सामग्री प्रबंधन में विशेषज्ञता नलिनी मिश्रा डिजिटल सामग्री प्रबंधन की एक अनुभवी पेशेवर हैं। वह डिजिटल मीडिया के क्षेत्र में कुशलतापूर्वक काम करती हैं और कंटेंट स्ट्रैटेजी, क्रिएशन, और प्रबंधन में विशेषज्ञता रखती हैं

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