इंडियन स्ट्रीट फूड की क्रंच और देसी हुनर का अनोखा संगम—लंदन में ‘Bihari Ghantawala Samosa’ का मैनेजर सड़कों पर घूम-घूमकर समोसे बेच रहा है, और यही जुगाड़ उसे सोशल मीडिया पर रातों-रात स्टार बना रहा है। एक वायरल रील में एक स्थानीय विदेशी ग्राहक अपनी नई Tesla में बैठकर गरमा-गरम समोसा चखते दिखता है, और वीडियो देखते ही देखते पूरे इंटरनेट पर छा जाता है।
Bihari Samosa Center Ghantawala की जड़ें कहाँ हैं?
ब्रांड की शुरुआत साल 1972 में नादियाद, गुजरात से हुई थी। इसे Kalishaprasad Kishanlal Shah ने स्थापित किया। आधिकारिक जानकारी के मुताबिक, पिछले 50 वर्षों में यह सेंटर अपने पारंपरिक बिहारी समोसे, पुरानी रेसिपीज़ और ताज़ी स्थानीय सब्ज़ियों के इस्तेमाल के लिए प्रसिद्ध रहा है। यही स्वाद अब सीमाएँ लांघते हुए यूके तक पहुँच चुका है।
लंदन में क्यों चर्चित है ‘घंटावाला’?
लंदन में इंडियंस की संख्या अच्छी-खासी है, और उनके साथ चला आता है समोसे के प्रति प्यार। इसी भावनात्मक कनेक्शन पर ‘Ghantawala Bihar’ ने दांव लगाया। शहर में दो आउटलेट्स—साउथ हैरो मार्केट और सनातन टेम्पल, वेम्बली के पास—खुलते ही ब्रांड ने अलग तरह की मार्केटिंग शुरू कर दी।
सबसे अलग बात यह कि मैनेजर काउंटर के पीछे खड़े रहने के बजाय बस स्टॉप्स, पार्क्स और टी स्टॉल्स के बाहर जाकर खुद लोगों को समोसा ऑफर करता है। एक वायरल वीडियो में वह हँसते हुए कहता दिखता है—“You never know where I’ll pop up next.” यानी “आपको नहीं पता मैं अगली बार कहाँ दिख जाऊँगा।”
सड़कों पर घूमकर समोसा बेचने की रणनीति काम कैसे कर गई?
पारंपरिक स्टोरफ्रंट पर कस्टमर का इंतज़ार करने की जगह सीधे लोगों तक पहुँचना—यही इस ब्रांड की चर्चा का कारण बना। वेम्बली और साउथ हैरो में मैनेजर की यह रोमिंग सेल्स स्टाइल लोगों को आकर्षित कर रही है। यूके में रह रहे भारतीयों के साथ-साथ लोकल ब्रिटिश कस्टमर भी अपने रास्ते में रुककर एक बाइट लेना पसंद कर रहे हैं।
सोशल मीडिया पर जो रील ट्रेंड कर रही है, उसमें Tesla में बैठे एक स्थानीय ग्राहक का चटखारे लेना ब्रांड के लिए मुफ़्त का प्रमोशन बन गया। देसी स्ट्रीट फूड की अपील और बिहारी जज्बे का यह मिश्रण, देखने वालों को तुरंत कनेक्ट कर देता है—यही वजह है कि वीडियो वायरल हो गया।
भारत से यूके तक: घंटावाला की लोकप्रियता की कहानी
घंटावाला के समोसे दशकों से बिहारी स्वाद की पहचान रहे हैं। पुराने नुस्खों पर भरोसा, फ्रेश वेजिटेबल्स का इस्तेमाल और सिग्नेचर क्रंच—इन्हीं खूबियों ने ब्रांड को लंबे समय तक चर्चित बनाए रखा। अब यही प्रामाणिकता लंदन में भी होम-लाइक टेस्ट की तलाश कर रहे लोगों तक पहुँच रही है।
ब्रांड के अनुसार, भारत में इसके अहमदाबाद में भी आउटलेट्स हैं—चांदखेड़ा और अंकुर चार रास्ता। वहीं लंदन के South Harrow Market और Sanatan Temple, Wembley के पास मौजूद दोनों ब्रांचेज़ प्रवासी भारतीयों को घर जैसा स्वाद देती हैं।
कम्युनिटी कनेक्ट
The Free Press Journal की रिपोर्ट के मुताबिक, यह ईटरी कम्युनिटी इवेंट्स भी होस्ट करती है और स्पेशल ओकेज़न्स के लिए कैटरिंग मुहैया कराती है। आगे की योजनाओं में नए आउटलेट्स और नए फ्लेवर शामिल हैं—मकसद है बिहार की क्यूलिनरी हेरिटेज को ज़्यादा से ज़्यादा लोगों तक पहुँचाना, और उसे ग्लोबल मंच पर और मजबूत करना।
देसी स्वाद + स्मार्ट जुगाड़ = ग्लोबल वायरल हिट
बिहारी घंटावाला समोसा की वायरल कहानी बताती है कि असली स्वाद के साथ अगर नवाचार जोड़ दिया जाए—जैसे रोड-साइड हॉकिंग और रील-फ्रेंडली मोमेंट्स—तो ब्रांड सीमाएँ तोड़कर इंटरनेशनल लेवल पर भी छा सकता है। अभी के लिए, लंदन की सड़कों पर घूमता यह मैनेजर और उसके समोसे, देसी फ़ूड कल्चर की नई सफलता गाथा लिख रहे हैं।
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